दोस्तों हम जब भी बात करते हैं बनारस में या फिर बनारस के कुछ प्रसिद्ध चीजों के बारे में तो उन सब में नाम बनारस हिन्दू यूनिवर्सिटी का भी आता है। बनारस हिन्दू यूनिवर्सिटी बनारस की एक बहुत ही प्रसिद्ध जगह है। जहां लोग पढ़ने के साथ साथ घूमने भी जाते हैं क्योंकि उस यूनिवर्सिटी में पढ़ाई तो होती ही है और साथ में घूमने लायक भी जगह है। यह यूनिवर्सिटी पूरे एशिया की सबसे बड़ी हिंदू यूनिवर्सिटी है।
इस यूनिवर्सिटी को सन 1915 ईस्वी में महात्मा मदन मोहन मालवीय के द्वारा स्थापित किया गया था। अगर दस्तावेज की बातों पर ध्यान दिया जाए तो दस्तावेजों के अनुसार महात्मा मदन मोहन मालवीय का इस यूनिवर्सिटी में सिर्फ एक संस्थापक के रूप में योगदान रहा है। इस यूनिवर्सिटी को बनाने के लिए दरभंगा के महाराज रामेश्वरम सिंह ने सारी व्यवस्था की थी। दस्तावेज में इस बात की भी अस्पष्ट जानकारी दी गई है कि राजा रामेश्वरम सिंह जो कि दरभंगा के राजा थे उन्होंने महात्मा मदन मोहन मालवीय को यह सारी चीजें दान के रूप में दी और उस दान को लेकर महात्मा मदन मोहन मालवीय जी ने इस यूनिवर्सिटी की स्थापना की।
बनारस हिन्दू यूनिवर्सिटी क्या है? (What is Banaras Hindu University?)
बनारस हिन्दू यूनिवर्सिटी एक विश्वविद्यालय है। जो वाराणसी में स्थित है। इसे लोग बी.एच.यू. के नाम से भी जानते हैं। बनारस हिन्दू यूनिवर्सिटी यानी बीएचयू को 1916 में मदन मोहन मालवीय के द्वारा स्थापित किया गया था। इस विश्वविद्यालय में केवल भारत के ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया के लोग पढ़ने आते हैं। इस यूनिवर्सिटी में पढ़ाई के साथ-साथ विद्यार्थियों को बाहरी नॉलेज भी दिया जाता है।
इस यूनिवर्सिटी में लोग सिर्फ पढ़ाई करने के लिए ही नहीं आते हैं बल्कि यह यूनिवर्सिटी पूरे एशिया का सबसे बड़ा यूनिवर्सिटी है। इसलिए लोग इस यूनिवर्सिटी में घूमने भी आते हैं। इस यूनिवर्सिटी में कई ऐसी जगह है जो पर्यटकों का ध्यान अपनी ओर आकर्षित करती है।
यह विश्वविद्यालय कितने एकड़ में है (How many acres is this University)
दोस्तों हम आपको बता दें कि बनारस हिन्दू यूनिवर्सिटी दो परिसरों में बटा हुआ है। यानी कि इस यूनिवर्सिटी के दो परिसर है पहला परिसर बनारस में है जो लगभग 13 सौ एकड़ की भूमि पर खड़ा है। इस भूमि को काशी के राजा काशी नरेश ने इस यूनिवर्सिटी को बनाने के लिए दान किया था। इस विश्वविद्यालय का दूसरा परिषर जनपद मिर्जापुर में है जो परिषद लगभग 27 सौ एकड़ की भूमि पर खड़ा है। इस परिसर में कुल मिलाकर 75 छात्रवास है। जिसके चलते पूरे एशिया का यह सबसे बड़ा आवासीय विश्वविद्यालय है। इस विश्वविद्यालय में लगभग 30000 से भी ज्यादा छात्रा रहकर अपनी पढ़ाई करते हैं। इस यूनिवर्सिटी में छात्र लगभग 34 से भी ज्यादा देशों से अध्ययन करने के लिए आए हैं।
इस विश्वविद्यालय की स्थापना की क्या है उद्देश्य (What is the purpose of establishing this Banaras Hindu University)
दोस्तों हम आपको बता दें कि इस विश्वविद्यालय की स्थापना की कुछ मुख्य उद्देश्य में से एक उद्देश्य यह भी है कि हमारे देश भारत की प्राचीन ग्रंथों के बारे में इस विश्वविद्यालय में अध्ययन कर रहे सभी छात्रों को बताया जाए ताकि सभी छात्रों को भारत के इतिहास के बारे में पता चल जाए कि भारत में क्या-क्या हुआ है। उसके साथ साथ ही इस विश्वविद्यालय की उद्देश्य यह भी है कि हमारे प्राचीन भाषा संस्कृत जिसकी प्राथमिकता अब धीरे-धीरे कम हो रही है उसको पढ़ाया जाए और फिर संस्कृत को उस जगह पर लाकर खड़ा कर दिया जाए जिस जगह पर वह पहले खड़ा था। ऐसा माना जाता है कि संस्कृत भाषा से ही ब्रह्मांड के सारी भाषाओं की रचना हुई है। इसलिए इस विश्वविद्यालय का उद्देश्य है कि संस्कृत भाषा का भी प्रचलन होना आवश्यक है तभी सारी भाषाओं का प्रचलन हो पाएगा।
क्या है इतिहास बनारस हिन्दू यूनिवर्सिटी का (What is the History of Banaras Hindu University)
दोस्तों हम आपको बता दें कि इस के प्राचीन इतिहास में इस बात कि जानकारी दी की गई है कि इस विश्वविद्यालय को 1904 में ही स्थापित कर दिया गया था और 1905 में विश्वविद्यालय की पाठ्यक्रम पुस्तक छापनी शुरू हो गई थी। इस विश्वविद्यालय की स्थापना 1904 उस वक्त हुई थी जब काशी नरेश के साथ बाकी सभी लोगों ने बैठक करके इस विश्वविद्यालय की स्थापना करने का सुझाव दिया था।
बनारस हिंदू यूनिवर्सिटी में क्या है घूमने लायक (What is worth visiting in Banaras Hindu University)
हम आपको बता दें कि आप बनारस हिंदू यूनिवर्सिटी में पढ़ाई करने के साथ-साथ एक पर्यटक रूप में भी जा सकते हैं। यहां पर घूमने के लिए गौशाला, बड़े बड़े मैदान, बगीचे, और साथ में पूरा परिसर हरे भरे मैदानों से लिप्त है। बनारस हिंदू यूनिवर्सिटी का कैंपस काफी साफ़ है। जो इससे और भी सुन्दर बनता है।
इस यूनिवर्सिटी में भगवान शंकर की एक भव्य मंदिर भी है। जिसे हम विश्वनाथ मंदिर के नाम से जानते है। इस मंदिर में भगवान शंकर के साथ साथ सभी देवी देवताओं के छोटे-छोटे मंदिर है। इस मंदिर की पहली मंजिल पर हिंदू शास्त्र की जानकारी दी गई है। यहां पर भगवत गीता की भी कुछ श्लोक को लिखा गया है और यहां पर बगीचे हैं जहां पर खूब रंग बिरंगे फूल भी हैं। साथ ही में आप यहाँ पे खाना-पीने के साथ साथ हेंडीक्राफ्ट से बने हुए वस्तुओं की शॉपिंग कर सकते है।
बी एच् यू बनारस ये वह जगह है जहा आप हिन्दू इतिहास, भारत के प्राचीन सभयता को देख और महसूस कर सकते है। यहाँ पर घूमना और बनारस में बीताये कुछ लम्हे आपको बहुत ही अच्छा महसूस कराएगा।
इसके अलावा क्या है बनारस में खास (Apart from this, what is special in Banaras)
बनारस में बनारस हिंदू विश्वविद्यालय घुमनें के साथ-साथ आप यहां के प्राचीन मंदिरों और प्रसिद्ध घाटों को भी देख सकते हैं। जैसे की दुर्गा कुंड मंदिर, तुलसी मानस मंदिर, संकट मोचन हनुमान मंदिर, अस्सी घाट, रामनगर किला कुछ ऐसे नाम हैं जिन्हें आप अपनी वाराणसी यात्रा सूची में जोड़ सकते हैं।
निष्कर्ष (Conclusion)
दोस्तों आज हमने आपको इस आर्टिकल के माध्यम से बनारस हिंदू यूनिवर्सिटी यानी बीएचयू के बारे में लगभग सारी जानकारी दे दी है। तो उम्मीद करते हैं कि आपको हमारा यह आर्टिकल पसंद आया होगा और इसमें दी गई सारी जानकारी आपको अच्छे से समझ में आ गई होगी। अगर आपको हमारा यह आर्टिकल पसंद आया तो आप इसे अपने दोस्तों के साथ या अपने सोशल मीडिया पर शेयर कर सकते हैं।